भारत के इतिहास में 2021-22 की पहली तिमाही में अब तक का सबसे अधिक 95 अरब अमेरिकी डॉलर का निर्यात किया गया है। यह 2020-21 की पहली तिमाही के निर्यात से 85 फीसदी और 2019-20 की पहली तिमाही के निर्यात से 18 फीसदी अधिक है जो कि वर्ष 2018-19 की पहली तिमाही में हुए पिछले अधिकतम निर्यात (82 अरब अमेरिकी डॉलर) की तुलना में 16 फीसदी अधिक है और 2020-21 की चौथी तिमाही (90 अरब अमेरिकी डॉलर) के अधिकतम निर्यात के रिकॉर्ड से भी ज्यादा है।
ज्यादा श्रमिक आधारित कई क्षेत्रों के निर्यात में तेजी से बढ़ोतरी हुई है। इंजीनियरिंग उत्पाद क्षेत्र में निर्यात 2019-20 की पहली तिमाही की तुलना में 5.2 बिलियन अमरीकी डॉलर बढ़ा है। इसी तरह चावल के निर्यात में मई 2020 से लगातार बढ़ोतरी बनी हुई है और 2019-20 की पहली तिमाही की तुलना में 2021-22 की पहली तिमाही में 37 फीसदी बढ़ोतरी हुई है।
भारत ने दुनिया की प्रमुख अर्थव्यवस्थाओं की तुलना में अप्रैल 2020 में निर्यात क्षेत्र में अच्छा प्रदर्शन किया था। अप्रैल 2019 की तुलना में, अप्रैल 2021 के दौरान भारत के निर्यात में बढ़ोतरी, यूरोपीय संघ, जापान, अमेरिका, कोरिया गणराज्य और यूनाइटेड किंगडम जैसी अन्य प्रमुख उन्नत अर्थव्यवस्थाओं की तुलना में अधिक थी।
भारत में 2020-21 में 81.72 अरब अमरीकी डॉलर का अब तक का सबसे अधिक एफडीआई प्रवाह हुआ है। यह 2019-20 में प्राप्त 74.39 अरब अमरीकी डालर की तुलना में 10 फीसदी अधिक है। अप्रैल 2021 के दौरान 6.24 अरब अमरीकी डालर के एफडीआई प्रवाह के साथ लगातार बढ़ोतरी जारी है, जो अप्रैल 2020 की तुलना में 38 फीसदी अधिक है।