सड़क दुर्घटनाओं का एकीकृत डेटा बेस (आईआरएडी) योजना लागू

श्री राजनाथ सिंह और श्री नितिन गडकरी ने 13 जनवरी, 2020 को मंत्रालय एकीकृत सड़क दुर्घटना डेटाबेस ( Integrated Road Accident Database (IRAD ) नामक नई परियोजना का उद्घाटन किया।

  • यह भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान, मद्रास की सहायता तथा एनआईसी और विश्‍व बैंककी मदद से विकसित और लागू की जा रही एक मजबूत सड़क दुर्घटना डेटाबेस प्रबंधन प्रणाली है।
  • इससे राज्य और केंद्र, सड़क दुर्घटनाओं से संबंधित जानकारियों को समझने, सड़क दुर्घटनाओं के मूल कारणों का विश्लेषण करने तथा दुर्घटनाओं को कम करने के लिए डेटा-नेतृत्व वाले सड़क सुरक्षा उपायों को विकसित और लागू करने में सक्षम होंगे। दुर्घटना डेटा सड़क सुरक्षा परिदृश्यों का आकलन करने और दुर्घटनाओं को कम करने के लिए आवश्यक हस्तक्षेपों को लागू करने का आधार प्रदान करता है।
  • दुर्घटना डेटाबेस वैज्ञानिक सड़क सुरक्षा प्रबंधन अर्जित करने की दिशा में पहला कदम है। एक आदर्श डेटाबेस को व्यापक बनाने की आवश्यकता है ताकि न केवल सांख्यिकीय जरूरतें ही पूरी हों बल्कि दुर्घटना में कमी के लाने के उपायों की योजना बनाने में भी सहायता मिल सके।
  • यह प्रणाली पूरे देश में विभिन्न प्रकार की सड़कों यानी राष्ट्रीय राजमार्गों, राज्य राजमार्गों, शहर की सड़कों आदि के बारे में डेटा एकत्र कर सकती हैं। आईआरएडी एक व्यापक वेब-आधारित आईटी समाधान होगा और इससे पुलिस, पीडब्‍ल्‍यूडी, एनएचएआई जैसी विभिन्‍न एजेंसियों को जांच, सड़क इंजीनियरिंग, वाहन स्थिति जैसे विभिन्‍न परिपेक्ष्‍यों सहित सड़क दुर्घटनाओं के बारे में विवरण डालने में सक्षम बनायेगा। इस प्रकार डाले गये विवरणों से विभिन्न प्राधिकारी, विभिन्‍न प्रकार को विश्‍लेषण करने और भारत में सड़क दुर्घटनाओं की गतिशीलता समझने और प्रवर्तन इंजीनियरिंग, शिक्षा और आकस्‍मिकता के क्षेत्र में लक्षित उपायों को शुरू करने में मदद करेंगे, ताकि देश में सड़क सुरक्षा स्थिति में सुधार लाया जा सके।
  • यह प्रणाली पहले छह राज्‍यों यानी कर्नाटक, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र, राजस्थान, तमिलनाडु और उत्तर प्रदेश में शुरू की जायेगी, क्‍योंकि इन राज्‍यों में सड़क दुर्घटना से होने वाली मौतों की संख्‍या सबसे अधिक है।

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