फरवरी 2021 में यूनाइटेड किंगडम के ग्लूस्टरशायर शहर के विंचकोम्बे में एक चरवाहे उल्कापिंड के दो छोटे टुकड़े प्राप्त हुए थे। इस उल्कापिंड को “विंचकोम्बे” (Winchcombe meteorite ) नाम दिया गया है।
- इस उल्कापिंड को लंदन स्थित प्राकृतिक इतिहास संग्रहालय में दर्शकों के लिए रखा गया है।
- बीबीसी की रिपोर्ट के मुताबिक तकरीबन 4 बिलियन साल पुराने इन उल्कापिंड में छिपे रसायनों की मदद द्वारा इस रहस्य से पर्दा उठाया जा सकता है कि अंतरिक्ष में जीवन की कितनी संभावना है।
- उल्कापिंड का टुकड़ा, जो कोयले की तरह काली चट्टान का 103 ग्राम का टुकड़ा है, मीरा इहास और ग्लासगो विश्वविद्यालय की एक टीम द्वारा एक खेत में पाया गया था। उल्कापिंड फरवरी में ग्लूस्टरशायर में स्थित एक घर के ड्राइववे में उतरा और इसे “आश्चर्यजनक रूप से दुर्लभ” माना गया।
मीटिऑराइड, मीटिऑर और मीटिऑराइट के बीच अंतर
- नासा के मुताबिक मीटिऑराइड, मीटिऑर और मीटिऑराइट के बीच का अंतर और कुछ नहीं बल्कि पिंड की जगह से है।
- मीटिऑराइड (meteoroid) अंतरिक्ष में ऐसी वस्तुएं हैं जिनका आकार धूल के दानों से लेकर छोटे क्षुद्रग्रहों तक होता है। वस्तुतः ये अंतरिक्ष चट्टान हैं ।
- लेकिन जब मीटिऑराइड पृथ्वी के वायुमंडल में प्रवेश करते हैं तो उन्हें उल्का या मीटिऑर (meteor) कहा जाता है।
- लेकिन अगर कोई मीटिऑराइड पृथ्वी के वायुमंडल में प्रवेश कर जमीन से टकराता है तो उसे मीटिऑराइट (meteorite) कहते हैं।