पर्यटन मंत्रालय अपनी ‘देखो अपना देश’ पहल के अंतर्गत पर्यटन पर केंद्रित विविध विषयों, थीम्स आदि पर वेबिनारों का आयोजन कर रहा है। “75 डेस्टिनेशन्स विद टूर गाइड्स”के अंतर्गत 11 दिसम्बर, 2021 को ‘महाराष्ट्र के ज्योतिर्लिंगम मंदिर’ पर वेबिनार का आयोजन किया गया। वेबिनार की प्रस्तुति क्षेत्रीय स्तर के गाइड उमेश नामदेव जाधव ने की।
- महाराष्ट्र में लोकप्रिय और पूजनीय धार्मिक एवं आध्यात्मिक स्थल बड़ी तादाद में हैं, जो बड़ी संख्या में पर्यटकों को आकृष्ट करते हैं। महाराष्ट्र के प्रमुख ज्योतिर्लिंगों में त्रियंबकेश्वर (त्र्यंबकेश्वर), भीमाशंकर, घृष्णेश्वर,औंढा नागनाथ और परली वैजनाथ शामिल हैं।
- इन मंदिरों में भगवान शिव ज्योतिर्लिंगम के रूप में प्रतिष्ठापित हैं और भारत की धार्मिक मान्यताओं में पुरातन काल से श्रद्धेय रहे हैं। इन 12 ज्योतिर्लिंगों में से,सुदूर दक्षिण का ज्योतिर्लिंग तमिलनाडु के रामेश्वरम में, जबकि सुदूर उत्तर का ज्योतिर्लिंग हिमालय में उत्तराखंड के केदारनाथ में स्थित है। ये मंदिर पुराणों की किंवदंतियों के साथ निकटता से जुड़े हुए हैं तथा इतिहास और परंपरा की दृष्टि से समृद्ध हैं।
- त्र्यंबकेश्व या त्रियंबकेश्वर ज्योतिर्लिंगम नासिक से 28 किलोमीटर दक्षिण-पश्चिम में स्थित है और यह उन चार स्थानों में से भी एक है जहां सिंहस्थ कुंभ मेला लगाया जाता है।
- भीमाशंकर मंदिर महाराष्ट्र की सह्याद्री पर्वत श्रृंखला में स्थित एक प्राचीन शिव मंदिर है, जो देश भर से श्रद्धालुओं को आकृष्ट करता है।
- घृष्णेश्वर ज्योतिर्लिंगम औरंगाबाद में स्थित है। इस मंदिर का निर्माण अहिल्याबाई होल्कर ने करवाया था। यह घुश्मेश्वर के नाम से भी विख्यात है।
- औंढा नागनाथ ज्योतिर्लिंग महाराष्ट्र के हिंगोली जिले में स्थित 13वीं सदी का मंदिर है। औंढा नागनाथ को सर्वश्रेष्ठ ज्योतिर्लिंग माना जाता है। इसे पांडवों द्वारा स्थापित प्रथम या ‘आद्या’ लिंग माना जाता है।
- परली वैजनाथ के ज्योतिर्लिंगम मंदिर को वैद्यनाथ भी कहा जाता है और इसका जीर्णोद्धार रानी अहिल्याबाई होल्कर ने करवाया था।
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